प्रोफ. दिपांकर बनर्जी प्रोफ. दिपांकर बनर्जी ने अक्तूबर 14, 2024 को आई आई एस टी के निदेशक के रूप में कार्यभार संभाला है। वे खगोल भौतिक विज्ञानी हैं। उन्होंने सेंट ज़ेवियर्स कॉलेज से भौतिकी में स्नातक की उपाधि और कोलकत्ता विश्वविद्यालय से सैद्धांतिक भौतिकी में स्नातकोत्तर उपाधि प्राप्त की है। उन्होंने भारतीय खगोल भौतिकी संस्थान से पीएचडी की उपाधि प्राप्त की और यूरोप के प्रतिष्ठित संस्थानों में दो पोस्टडॉक्टरल कार्यकाल पूरे किए और 2019-2024 तक नैनीताल के आर्यभट्ट प्रेक्षण विज्ञान शोध संस्थान (ARIES) के निदेशक के रूप में सेवा की। वे भारतीय खगोल भौतिकी संस्थान में वरिष्ठ प्रोफेसर भी हैं।
डॉ. बनर्जी का अनुसंधान क्षेत्र सूर्य और सौर वातावरण है। उनके कार्य में भू और अंतरिक्ष - आधारित उपकरणों से डेटा का उपयोग करके सैद्धांतिक एवं संख्यात्मक मॉडलिंग करना शामिल है। उनके काम ने सूर्य और अंतरिक्ष मौसम पर इसके प्रभाव के बारे में हमारी समझ को समृद्ध किया है।
वे “आदित्य” मिशन के विज्ञान कार्य समूह के सह-अध्यक्ष हैं। “आदित्य” सूर्य का अध्ययन करने वाला पहला भारतीय मिशन है, जिसे सितंबर 2, 2023 को इसरो द्वारा प्रमोचित किया गया था। वे नासा के पी यू एन सी एच मिशन से भी जुड़े हुए हैं। वे भारतीय विज्ञान अकादमी, राष्ट्रीय विज्ञान अकादमी, रॉयल एस्ट्रोनॉमिकल सोसाइटी के अधि सदस्य हैं और वर्तमान में भारतीय खगोल विज्ञान सोसाइटी के अध्यक्ष भी हैं।
डॉ. बनर्जी के 150 से अधिक सह - समीक्षित प्रकाशन हैं जिनमें अंतर्राष्ट्रीय पत्रिकाओं में लगभग 3900 उद्धरण हैं। वे वर्तमान में 5 पीएचडी छात्रों का मार्गदर्शन कर रहे हैं जबकि उनके 15 छात्रों ने अपनी पीएचडी पूरी कर ली है।
अपने वैज्ञानिक करियर के अलावा, डॉ. बनर्जी विभिन्न गतिविधियों में भी रुचि रखते हैं। वे हिंदुस्तानी शास्त्रीय संगीत में प्रशिक्षित हैं और एक बंगाली थिएटर ग्रुप, स्मरणिक के सदस्य हैं और नियमित रूप से नाटकों में अभिनय करते हैं, राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय थिएटर उत्सवों में भाग लेते हैं। डॉ. बनर्जी का विज्ञान के प्रति प्रेम और जीवन के प्रति उत्साह अत्यधिक प्रेरणादायक है।